नई दिल्ली, 23 सितंबर 2022 : राष्ट्रीयस्वयंसेवक संघ केसरसंघचालक मोहन भागवतने कहा किमुस्लिम–हिंदू की एकताके लिए संवादबढ़ाना होगा। इसी केचलते देश काविभाजन हुआ। उधरभी जो गएवह भी खुशनहीं हैं। हमजब समरसता कीइस प्रकिया मेंशक्तिवान होकर संवादबढ़ाते हैं तोउसे गंभीरता सेलिया जाता है।क्योंकि तब किसीस्वार्थ के लिएनहीं होता, बल्किआत्मीयता के साथहोता है।
भागवत ने कहाकि यह बतानाहोगा कि हमारीएकता किसी पहचानको मिटाकर नहींबनती, बल्कि सहअस्तित्व की बातकरती है। यहभेद अलग पहचानऔर लाभ केलिए बनी है।इसे दूर करनाहै। ये हमारेहैं, इसलिए दोस्तीबढ़नी चाहिए।
वह संकल्पफाउंडेशन व पूर्वसिविल सेवा अधिकारीमंच द्वारा आयोजितव्याख्यानमाला-2022 को संबोधितकर रहे थे।उन्होंने इस अवसरपर जनसंख्या नियंत्रणपर भी एकनीति की आवश्यकतापर जोर दिया।
कल मदरसापहुंचे थे RSS के सरसंघचालकमोहन भागवत
मुस्लिम समाज सेसंवाद बढ़ाने कीपहल के तहतमहत्वपूर्ण घटनाक्रम में पहलीबार राष्ट्रीय स्वयंसेवकसंघ के सरसंघचालकमोहन भागवत बृहस्पतिवारको किसी मदरसेपहुंचे और वहांके 300 छात्रों से सीधेसंवाद किया। संवादमें उन्होंने छात्रोंको इंसानियत, देशप्रेमव नारी सम्मानका पाठ पढ़ाया।यह 74 वर्ष पुरानामदरसा ताजबीदूल कुरानपुरानी दिल्ली के बाड़ाहिंदूराव में स्थितहै।
वह मदरसेमें ऐसे वक्तगए जब उत्तरप्रदेश सरकार द्वारा मदरसोंके सर्वेक्षण कोलेकर विवाद बनाहुआ है। छात्रोंसे संवाद मेंसंघ प्रमुख नेमदरसों के आधुनिकीकरणऔर छात्रों केलिए आधुनिक शिक्षापर भी जोरदिया है। यहांवह तकरीबन दोघंटे रहे। इसदौरान मदरसा "भारतमाता की जय' और "वंदेमातरम' के जयकारोंसे गूंजता रहा।उन्होंने छात्रों के साथही चाय-नाश्ताभी लिया।
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