अयोध्या में राम मंदिर परिसर के लिए रामजन्म भूमि न्यास ट्रस्ट द्वारा चल रही जमीन की खरीद फरोख्त में 5 मिनट के भीतर 2 करोड़ की जमीन 18 करोड़ में खरीदे जाने का जो मामला सुर्खियों में है अब उस पर कांग्रेस की तरफ से भी बड़ा खुलासा हुआ है।
उत्तर प्रदेश कांग्रेस के तेज तर्रार नेता और प्रवक्ता अंशु अवस्थी ने राम मंदिर परिसर के लिए खरीदी गई जमीन में बंदरबांट का आरोप लगाया है।
अंशु अवस्थी ने इस पूरे मामले में समाजवादी पार्टी को भी आड़े हाथों कहा कि 18 मार्च 2021 को सपा नेता सुल्तान अंसारी जो कि सपा से पार्षद का चुनाव भी लड़ चुका है ने ज़मीन को उसके मालिक कुसुम पाठक से 2 करोड़ में ख़रीदा। जिसमें गवाह के तौर पर अनिल मिश्रा सदस्य राम मंदिर ट्रस्ट और ऋषिकेश उपाध्याय भाजपा नेता शामिल थे।
इसके बाद घोटाला शुरू हुआ। उसी ज़मीन को उसी दिन यानि 18 मार्च 2021 को ही 2 घंटे के अंदर राम मंदिर ट्रस्ट के सचिव चंपत राय {जो RSS के सदस्य } ने सपा नेता सुल्तान अंसारी से 18 करोड़ रुपये में ख़रीद ली जिसमें भी गवाह के तौर पर अनिल मिश्रा व ऋषिकेश उपाध्याय शामिल रहे ,इससे साफ़ तौर पर पता चलता है कि भगवान राम के मंदिर जिसमें देश के करोड़ों-करोड़ लोग दान कर भव्य मंदिर का निर्माण चाहते हैं वहाँ अंदर खाने भगवान के नाम पर इस तरह के स्कैम चल रहा है।
यह खबर बाहर आने पर देश का जनमानस आक्रोश में है ,यह तो वह है जिसका प्रमाण है बाक़ी अदृष्य कितना क्या हो रहा होगा ,प्रभु राम सब देख रहे हैं।
कांग्रेस नेता अंशु अवस्थी ने पूरे मामले में कई सवाल भी उठाए हैं जो जनमानस में कौतूहल कर रहे हैं -
जमीन के उसी दिन दो बार क्रय-विक्रय की आवश्यकता क्या थी ? जमीन की प्रथम मालिक कुसुम पाठक से सीधे भगवान राम मंदिर ट्रस्ट ने 2 करोड़ में क्यों नही खरीदी ?
जमीन को खरीदने वाला सपा नेता सुल्तान अंसारी क्या 2 करोड़ की जमीन खरीदने की वित्तीय स्थिति में था,क्या आयकर विभाग में वह इस कैपिसिटी का ITR भरता था ?
जमीन के क्रय-विक्रय के गवाह कॉमन थे तो राम मंदिर ट्रस्ट को सीधे 2 करोड़ में क्यों नही दिलवाई गयी ?
उसी दिन 2 करोड़ की जमीन 18 करोड़ की क्रय-विक्रय की गई ये घोटाला नही तो क्या है ?
इसी तरह से और जमीन भी भगवान राम के मंदिर हेतु ट्रस्ट ने क्रय की है, अन्य जमीनों की भी क्रय-विक्रय में भी भ्रष्टाचार तो नही हुआ ?
टीम स्टेट टुडे
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