कई बार ऐसे वाकये सामने आते हैं जिससे पुलिस की छवि और कार्यशैली पर गंभीर सवाल खड़े हो जाते हैं। कछुआ तस्करी गंभीर अपराध है। बहराइच में एक युवक ने जब कछुआ तस्करी की सूचना 112 पर फोन कर दी तो रिस्पांस टीम मौके पर पहुंची। लेकिन लगता है दरोगा तीरथ राम सरोज को युवक का सूचना देना रास नहीं आया। कछुआ तस्करी का खुलासा करने वाले युवक को दरोगा तीरथ राम सरोज ने मौके पर पहुंच कर फोन लगाया और जमकर गाली गलौज और हाथापाई की। युवक का कसूर सिर्फ इतना था कि जब रिस्पांस टीम की अगुवाई कर रहे दरोगा का नाम पूछ लिया था। ये घटना कोतवाली देहात के बघईया शेखदहीर गांव की है।
आपको बताते चलें कि युवक की सूचना इतनी सटीक थी तस्करों के चंगुल से बड़ी संख्या में कछुओं को आजाद कराया गया। ये कछुए कई गठ्ठरों में बांधे गए थे। कई तो दुर्लभ प्रजाति के थे और अलग अलग तालाबों से इन्हें पकड़ा गया था। युवक ने अपनी परवाह ना करते हुए बेजुबान कछुओं को बचाने का सार्थक प्रयास तो किया ही साथ ही कानून की भी मदद की थी। लेकिन दरोगा तीरथ राम सरोज ने कार्रवाई करने के बावजूद किए कराए पर पानी फेर दिया।
वैसे दरोगा का रुख देखकर इस बात का असमंजस भी हो रहा है कि दरोगा जी अपना नाम नाम पूछने से तिलमिलाए या फिर कछुआ तस्कर को पकड़ने से कुछ ऐसा हुआ जिसका दर्द ना दिखाया जा रहा है ना सहा जा रहा है।
तस्वीरें सामने आने के बाद इस पूरे मामले की जांच CO सिटी कर रहे हैं। कहीं तस्करी में जिन कछुओं की जान बची है उनकी दुआएं युवक को लग गईं तो दरोगा जी को हर तमाचे का हिसाब देना पड़ेगा।
टीम स्टेट टुडे
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